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रविवार, 26 मार्च 2017

दृढ़ संकल्प


   अपने जीवन के अन्त समय में आकर, मेरे 90 वर्षीय पिता, जो पैतृक देवताओं को बड़ी श्रद्धा से मानते आए थे, के मुख से बड़े परिश्रम से कही गई यह बात सुनना बहुत असाधारण तथा विशिष्ट था कि "मेरी मृत्यु के बाद कोई भी और कुछ ना करे सिवाए उसके जो चर्च करता है। कोई झाड़ा-फूँकी नहीं, कोई पैत्रिक रीति के बलिदान नहीं, कोई अन्य अनुष्ठान नहीं। जैसे मेरा जीवन प्रभु यीशु मसीह के हाथों में है, वैसे ही मेरी मृत्यु भी रहेगी!"

   मेरे पिता ने प्रभु यीशु के मार्ग पर उसके पीछे चलने का निर्णय अपने बुढ़ापे में लिया था, जब उन्होंने प्रभु यीशु को अपने जीवन में आमंत्रित किया और स्वेच्छा से अपना जीवन उसे समर्पित कर दिया। उनके साथ के लोगों ने उनका उपहास किया, "तुम्हारी आयु के व्यक्ति को अब चर्च नहीं जाना चाहिए।" परन्तु उस एकमात्र सच्चे और जीवते परमेश्वर का अनुसरण तथा उपासना करने का मेरे पिता का निर्णय बिलकुल दृढ़ था, जैसे कि उन इस्त्राएलियों का जिन्हें यहोशू ने संबोधित किया।

   परमेश्वर के वचन बाइबल में, इसत्राएलियों को कनान देश में बसाने के पश्चात, यहोशू ने उन्हें चुनौति दी, "और यदि यहोवा की सेवा करनी तुम्हें बुरी लगे, तो आज चुन लो कि तुम किस की सेवा करोगे, चाहे उन देवताओं की जिनकी सेवा तुम्हारे पुरखा महानद के उस पार करते थे, और चाहे एमोरियों के देवताओं की सेवा करो जिनके देश में तुम रहते हो; परन्तु मैं तो अपने घराने समेत यहोवा की सेवा नित करूंगा" (यहोशू 24:15)। उन इस्त्राएलियों का निर्णय दृढ़ था - वे प्रभु परमेश्वर ही के पीछे चलना चाहते थे। यहोशू ने उन्हें इस बात की कीमत स्मरण कराई (पद 19-20), परन्तु वे इस्त्राएली बीते दिनों में परमेश्वर के छुटकारे, प्रावाधानों और सुरक्षा के अनुभवों को स्मरण करते हुए (पद 16-17, 21), प्रभु परमेश्वर का अनुसरण करने के अपने संकल्प पर दृढ़ बने रहे।

   परन्तु ऐसा दृढ़ निर्णय, उस ही के अनुरूप कार्य भी माँगता है, जैसा कि यहोशू ने उन्हें निर्देष दिया "अपने बीच पराए देवताओं को दूर कर के अपना अपना मन इस्राएल के परमेश्वर की ओर लगाओ" (यहोशू 24:23)। क्या आपने संपूर्ण जगत के उद्धारकर्ता प्रभु परमेश्वर यीशु मसीह का अनुसरण करने का निर्णय कर लिया है? क्या आप उसका अनुसरण करने के लिए दृढ़ संकल्प हैं? - लॉरेंस दरमानी


दृढ़ संकल्प उसके अनुसार स्पष्ट कार्यों की माँग करता है।

क्योंकि हम मसीह के भागी हुए हैं, यदि हम अपने प्रथम भरोसे पर अन्‍त तक दृढ़ता से स्थिर रहें। जैसा कहा जाता है, कि यदि आज तुम उसका शब्द सुनो, तो अपने मनों को कठोर न करो, जैसा कि क्रोध दिलाने के समय किया था। - इब्रानियों 3:14-15

बाइबल पाठ: यहोशू 24:14-24
Joshua 24:14 इसलिये अब यहोवा का भय मानकर उसकी सेवा खराई और सच्चाई से करो; और जिन देवताओं की सेवा तुम्हारे पुरखा महानद के उस पार और मिस्र में करते थे, उन्हें दूर कर के यहोवा की सेवा करो। 
Joshua 24:15 और यदि यहोवा की सेवा करनी तुम्हें बुरी लगे, तो आज चुन लो कि तुम किस की सेवा करोगे, चाहे उन देवताओं की जिनकी सेवा तुम्हारे पुरखा महानद के उस पार करते थे, और चाहे एमोरियों के देवताओं की सेवा करो जिनके देश में तुम रहते हो; परन्तु मैं तो अपने घराने समेत यहोवा की सेवा नित करूंगा। 
Joshua 24:16 तब लोगों ने उत्तर दिया, यहोवा को त्यागकर दूसरे देवताओं की सेवा करनी हम से दूर रहे; 
Joshua 24:17 क्योंकि हमारा परमेश्वर यहोवा वही है जो हम को और हमारे पुरखाओं को दासत्व के घर, अर्थात मिस्र देश से निकाल ले आया, और हमारे देखते बड़े बड़े आश्चर्य कर्म किए, और जिस मार्ग पर और जितनी जातियों के मध्य में से हम चले आते थे उन में हमारी रक्षा की; 
Joshua 24:18 और हमारे साम्हने से इस देश में रहनेवाली एमोरी आदि सब जातियों को निकाल दिया है; इसलिये हम भी यहोवा की सेवा करेंगे, क्योंकि हमारा परमेश्वर वही है। 
Joshua 24:19 यहोशू ने लोगों से कहा, तुम से यहोवा की सेवा नहीं हो सकती; क्योंकि वह पवित्र परमेश्वर है; वह जलन रखनेवाला ईश्वर है; वह तुम्हारे अपराध और पाप क्षमा न करेगा।
Joshua 24:20 यदि तुम यहोवा को त्यागकर पराए देवताओं की सेवा करने लगोगे, तो यद्दपि वह तुम्हारा भला करता आया है तौभी वह फिरकर तुम्हारी हानि करेगा और तुम्हारा अन्त भी कर डालेगा। 
Joshua 24:21 लोगों ने यहोशू से कहा, नहीं; हम यहोवा ही की सेवा करेंगे। 
Joshua 24:22 यहोशू ने लोगों से कहा, तुम आप ही अपने साक्षी हो कि तुम ने यहोवा की सेवा करनी अंगीकार कर ली है। उन्होंने कहा, हां, हम साक्षी हैं। 
Joshua 24:23 यहोशू ने कहा, अपने बीच पराए देवताओं को दूर कर के अपना अपना मन इस्राएल के परमेश्वर की ओर लगाओ। 
Joshua 24:24 लोगों ने यहोशू से कहा, हम तो अपने परमेश्वर यहोवा ही की सेवा करेंगे, और उसी की बात मानेंगे। 

एक साल में बाइबल: 
  • यहोशू 22-24
  • लूका 3